Geetika Sharma suicide case
कामयाबी की राह में अकसर ऐसी कुर्बानियां देनी पड़ती है जिसकी इजाजत हमारा जमीर नहीं देता. आज की दुनिया में आए दिन महिलाओं की कामयाबी की कहानियां आती हैं लेकिन इन कहानियों के पीछे दबी जुबान में कई बार लोग इस कामयाबी का सफर बिस्तर से होकर गुजरा हुआ बताते हैं. गीतिका शर्मा सुसाइड केस में भी ऐसे कई पहलू हैं जो इस समाज के हवस और वासना के भूखे नेताओं की छवि को उजागर करते हैं, साथ ही इस केस में एक बार फिर महिलाओं को ही अतिमहत्वाकांक्षी होने की सजा मिली.
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भारतीय राजनीति में पिछले कुछ दिनों से जो नाम बड़ी उग्रता और रसभरे अंदाज में लिया जा रहा है वह है गोपाल कांडा का. जिस तरह फिल्मों में विलेन एक अबला लड़की के हसीन और बड़े सपने पूरे करने के लिए उसका इस्तेमाल करता है उसी तरह गोपाल कांडा ने गीतिका शर्मा का शोषण किया.
Gopal Kanda’s Profile
गोपाल कांडा जो कभी जूतों का व्यापारी था आज उसका सैकड़ों रुपए का साम्राज्य फैला हुआ है. गोपाल कांडा देश-विदेश की तीन दर्जन से अधिक अलग-अलग कंपनियों के डायरेक्टर हैं. ज्यादातर कंपनियों में वह करीब दस साल पहले डायरेक्टर बने और अभी तक बने हुए हैं. इनमें ज्यादातर कंपनियां एमडीएलआर के नाम से हैं, जो अलग-अलग कारोबार करती हैं.
गोपाल कांडा एमडीएलआर [मुरली धर लेख राम] ग्रुप के प्रबंध निदेशक हैं. गुड़गांव में रीयल इस्टेट के कारोबार से कांडा ने अपनी प्रगति की उड़ान शुरू की. अपने राजनीतिक प्रभाव और धन का इस्तेमाल करते हुए कांडा ने ऐसी तरक्की की है कि आज वह 38 कंपनियों के निदेशक पद पर कार्य कर रहे हैं.
मंत्री गोपाल कांडा इसके पहले भी कई विवादों में रह चुके हैं. वह सिरसा से निर्दलीय विधायक हैं. कांडा पहली बार विवाद में तब घिरे, जब गुड़गांव के जनप्रतिनिधि अपार्टमेंट में उनके चालक द्वारा नौकरानी से दुष्कर्म के मामले में उनका नाम सामने आया. दूसरी बार चर्चा में तब आए, जब 28 नवंबर, 2011 को उपचुनाव के दौरान एक रैली के बाद उनके व सिरसा के कांग्रेस सांसद अशोक तंवर के बीच गाली-गलौज हो गई. कांडा हरियाणा के सबसे अमीर विधायक भी हैं.
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Geetika Sharma Profile
गीतिका ने 12वीं पास करने के बाद एयर होस्टेस का कोर्स किया था. गीतिका ने 18 अक्टूबर, 2006 को कांडा की कंपनी एमडीएलआर एयरलाइंस में बतौर ट्रेनी केबिन क्रू ज्वाइन किया था. 28 अगस्त, 2008 को उसे सीनियर केबिन क्रू प्रमोट किया गया. 31 मार्च, 2009 को उसे कोआर्डिनेटर बना दिया गया. 22 मई, 2010 को गीतिका ने कंपनी से त्यागपत्र दे दिया था.
लेकिन साल 2006 से 2010 के बीच गीतिका शर्मा इस कद्र प्रताडित हो चुकी थी कि उसने आखिरकार इस साल 05 अगस्त को मौत का रास्ता चुन लिया.
गोपाल कांडा की जिन हरकतों से गीतिका शर्मा बेहद परेशान थी वह हैं:
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