समाज के अलग-अलग लोगों को अपने ही तरीके से टारगेट करके मीडिया की सुर्खियां बटोरने वाले कांग्रेस महाचिव और मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने इस बार बीजेपी के एक बड़े नेता और गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी को अपना निशाना बनाया है. दिग्विजय सिंह ने अपने एक बयान में कहा कि दूसरे की पत्नियों पर अपमानजनक टिप्पणियां करने वाले नरेंद्र मोदी अपनी पत्नी के बारे में क्यों चुप हैं? उन्होंने दावा किया कि मोदी शादीशुदा हैं और उनकी पत्नी का नाम यशोदा बेन है.
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गौरतलब है कि नरेंद्र मोदी ने हिमाचल प्रदेश में चुनावी सभा को संबोधित करते हुए केंद्रीय मंत्री शशि थरूर की पत्नी सुनंदा को 50 करोड़ की गर्लफ्रेंड बताया था. जवाब में कांग्रेस का बचाव करते हुए और महिलाओं के अपमान का हवाला देते हुए दिग्विजय सिंह ने मोदी के परिवार पर सवाल उठा दिया है. दिग्विजय सिंह द्वारा मोदी पर किया गया यह हमला मीडिया में इस समय सुर्खियां बटोर रहा है. यह पहली बार नहीं है जब दिग्विजय ने मोदी पर ही इस तरह के हमले किए हैं. उन्होंने हमेशा उन लोगों को अपना निशाना बनाया है जो राजनीति और समाज से जुड़े हुए हैं.
1. अभी हाल में ही सलमान खुर्शीद और रोबर्ट वाड्रा के मामले पर दिग्विजय सिंह ने अरविंद केजरीवाल पर 27 सवाल दागे. जिसके जवाब में अरविंद की टीम ने ऐसे सवालों को बेबुनियाद बताया.
2. इससे पहले भी कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने इंडिया अगेंस्ट करप्शन (आईएसी) के सदस्य अरविंद केजरीवाल को हिटलर की तरह अहंकार में चूर और स्वार्थी तथा महत्वाकांक्षी कहा था.
3. दिग्विजय सिंह अपने उस बयान के लिए ज्यादा चर्चित हुए जब उन्होंने ओसामा बिन लादेन को ‘जी’ और रामदेव को ‘ठग’ कहा था. इस बात को लेकर दिग्विजय सिंह की पूरी आलोचना की गई. यह खबर राष्ट्रीय मीडिया में कई दिनो सुर्खिरों तक में रही.
4. दिग्विजय सिंह ने अन्ना हजारे पर अब तक का सबसे बड़ा हमला बोलते हुए उन्हें रामदेव के साथ आरएसएस और बीजेपी का एजेंट बताया था. जवाब में अन्ना हजार ने कहा कि दिग्विजय सिंह को अन्ना हजारे ने पागलखाने भेजने की सलाह दी.
5. पिछले दिनों काग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने राज ठाकरे पर निशाना साधते हुए कहा कि ठाकरे परिवार बिहार का रहने वाला है. मुंबई के असली बाशिदे तो मछुआरे हैं. दिग्विजय सिंह के इस बात पर ठाकरे परिवार बिदक गए थे.
ऐसा नहीं है कि अपने पार्टी दिग्विजय सिंह अपनी पार्टी को छोड़कर दूसरों की आलोचना के शिकार हुए. कई बार उनकी पार्टी ने भी उनके द्वारा लगाए गए आरोपों पर फटकार लगाई.
1. उत्तर प्रदेश चुनाव के समय दिग्विजय सिंह ने बाटला हॉउस एनकाउन्टर को फर्जी ठहराया जबकि गृह मंत्रालय से लेकर सरकार तक इसे सही ठहराती रही है. इस बयान के बाद उनकी पार्टी ने उनकी आलोचना की
2. राष्ट्रपति चुनाव के समय दिग्विजय सिंह ने ममता बनर्जी को ‘अपरिपक्व’ और ‘अस्थिर’ बताया था जिसकी वजह से कांग्रेस पार्टी की तरफ से उन्हे फटकार भी लगी. इस मुद्दे पर कांग्रेस की तरफ बयान यहा तक भी आया कि दिग्विजय सिंह पार्टी की तरफ से बोलने के लिए आधिकारिक रूप से अधिकृत नहीं हैं
ऐसे में सवाल उठता है कि दिग्विजय सिंह जो सवाल उठाते हैं क्या वह सार्थक होते हैं या फिर पार्टी में हासिए पर चले जाने की वजह से सुर्खियों में बने रहने के लिए इस तरह के हतकंड़े अपनाते हैं.
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